अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि का शव बाघंबरी मठ में लटकता हुआ मिला , कमरे से मिला आठ पेज का सुसाइड नोट

अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि का शव बाघंबरी मठ में लटकता हुआ मिला

newspoint 24 / newsdesk / एजेंसी इनपुट के साथ 

प्रयागराज। अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि की प्रयागराज के बाघंबरी मठ में संदिग्ध हालात में उनकी मौत हुई है। अब तक उनकी मौत की वजह की कोई ठोस जानकारी सामने नहीं आई है। पुलिस सूत्रों ने बताया कि महंत नरेंद्र गिरि का शव कमरे में लटकता हुआ पाया गया है। नरेंद्र गिरि सनातन परंपरा के सभी 13 अखाड़ों की परिषद के अध्यक्ष थे। 

उनका शव अल्लापुर बाघंबरी गद्दी स्थित कमरे से लटकता हुआ मिला है। आईजी केपी सिंह सहित पुलिस के सभी आला अधिकारी मौके पर मौजूद हैं। अभी यह स्पष्ट नही हुआ है कि यह हत्या है या आत्महत्या, इसके पीछे के कारणों का खुलासा अभी नहीं हो सका है। पुलिस ने शव को अपने कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है। इस सूचना के बाद से पूरे इलाके में तनाव का माहौल है।  
 

महंत नरेंद्र गिरि के कमरे से मिला आठ पेज का सुसाइड नोट

पुलिस की नजर में प्रथम दृष्टया आत्महत्या का मामला, शासन ने तलब की पूरी रिपोर्ट

 अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्रीमहंत नरेंद्र गिरि का सोमवार को संदिग्ध परिस्थितियों में निधन हो गया। पुलिस ने इसे प्रथम दृष्टया आत्महत्या का मामला बताया है। पुलिस ने उनके कक्ष से आठ पेज का सुसाइड नोट भी बरामद किया है। इस बीच शासन ने भी महंत नरेंद्र गिरि की मौत को लेकर पूरी रिपोर्ट जिला प्रशासन से तलब की है।

प्रयागराज के पुलिस महानिरीक्षक केपी सिंह ने बताया कि श्रीमहंत नरेंद्र गिरि के कक्ष से बरामद सुसाइड नोट में तमाम बातें विस्तार से लिखी गई हैं। इसमें उन्होंने कुछ शिष्यों से नाराजगी भी जताई है। उनके अनुसार सुसाइड नोट को बड़े ही भावनात्मक ढंग से लिखा गया है और उसमें आत्महत्या करने की भी बात का उल्लेख है। पुलिस महानिरीक्षक ने यह भी कहा कि फिलहाल सुसाइड नोट की फारेंसिक जांच भी कराई जाएगी ताकि यह स्पष्ट हो सके कि यह महंत नरेंद्र गिरि ने ही लिखा है या नहीं।

इस बीच प्रदेश के अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी ने प्रयागराज जिला और पुलिस प्रशासन से महंत नरेंद्र के निधन को लेकर पूरी रिपोर्ट तलब की है। अपर मुख्य सचिव गृह इस मामले पर स्वयं नजर रखे हुए हैं और हर जानकारी से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को भी अवगत करा रहे हैं।

गौरतलब है कि अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्रीमहंत नरेंद्र गिरि का शव प्रयागराज के बाघम्बरी मठ में फंदे से लटकता हुआ मिला है। मौके पर जिला प्रशासन और पुलिस के अधिकारी पहुंच गये हैं। मौके पर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया गया है। मठ के अंदर पुलिस जांच कर रही है और बाहर काफी भीड़ जमा है। श्रीमहंत नरेंद्र गिरि के निधन से देश के संत-महात्मा स्तब्ध हैं। कई संतों ने उनकी संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत की निष्पक्ष जांच की मांग की है।


नरेंद्र गिरि की मौत के कारणों की जांच कराने की मांग

अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्रीमहंत नरेंद्र गिरि की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत की खबर से हरिद्वार के संतों में शोक की लहर है। श्रीमहंत नरेंद्र गिरी श्री पंचायती अखाड़ा निरंजनी के श्री महंत थे। हरिद्वार से संतों की बड़ी जमात उनके अंतिम दर्शनों के लिए प्रयागराज रवाना हो रही है। निरंजनी अखाड़े के सचिव श्री महंत रवींद्र पुरी तथा पतंजलि योगपीठ के महामंत्री आचार्य बालकृष्ण सहित हरिद्वार के संतों ने श्री महंत नरेंद्र गिरि की मृत्यु को संत समाज के लिए अपूरणीय क्षति बताते हुए उनकी मौत के कारणों की जांच कराने की मांग की है।

निरंजनी अखाड़ा हरिद्वार के सचिव रविंद्र पुरी का कहना है कि श्री महंत नरेंद्र गिरि आत्महत्या जैसा कोई कदम नहीं उठा सकते । उन्होंने हाल ही में उनसे बातचीत कर अगले सप्ताह हरिद्वार आने की बात भी कही थी। पिछले सप्ताह उन्होंने उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के साथ श्री बाघमबारी गद्दी में दर्शन पूजन भी किया था। उधर, उनकी मृत्यु को लेकर हरिद्वार के संत समाज में अनेक तरह की चर्चा है। उनके द्वारा कुंभ के समय अपने प्रमुख शिष्य को अखाड़े से बाहर किए जाने का मामला भी चर्चा में है।

संतों ने उत्तर प्रदेश सरकार और केंद्र सरकार से इस मामले की विस्तृत जांच कराने की मांग की है। निरंजनी अखाड़े के सचिव और मां मनसा देवी मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष श्री महंत रविंद्र पुरी ने कहा कि वह प्रयागराज के लिए रवाना हो रहे हैं और वहां पहुंच कर परिस्थितियों का निरीक्षण करने के बाद इस मामले में आगे की कार्रवाई करेंगे।


 

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