मेडिकल इंफ्रास्ट्रक्चर को अधिक मजबूती के लिए योगी ने संजय गांधी पीजीआइ लखनऊ को बड़ा तोहफा दिया

 

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस दौरान कहा कि स्वास्थ्य के क्षेत्र में हमारी कार्यवाही युद्धस्तर पर चल रही है।

हम प्रदेश में 59 मेडिकल कॉलेज बनवा चुके हैं। यह सबसे बड़ी उपलब्धि है। आज कोई मुझसे पूछता है कि

पूर्वी यूपी की सबसे बड़ी उपलब्धि क्या है तो मैं कहता हूं कि हम लोगों ने हजारों बच्चों, जो इंस्पेलाइटिस से पहले मरते थे,

उनके जीवन को बचाने का हमने काम किया है। 

Newspoint24/संवाददाता  


लखनऊ। वैश्विक महामारी कोरोना वायरस संक्रमण के दौर में उत्तर प्रदेश के मेडिकल इंफ्रास्ट्रक्चर को अधिक मजबूती देने में लगे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को संजय गांधी पीजीआइ लखनऊ को बड़ा तोहफा दिया है। सीएम योगी आदित्यनाथ ने संजय गांधी पीजीआइ में करीब 600 करोड़ की विभिन्न विकास कार्य के लोकार्पण तथा शिलान्यास कार्यक्रम के दौरान संजय गांधी पीजीआइ के योगदान की जमकर सराहना की।

स्वास्थ्य के क्षेत्र में हमारी कार्यवाही युद्धस्तर पर
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस दौरान कहा कि स्वास्थ्य के क्षेत्र में हमारी कार्यवाही युद्धस्तर पर चल रही है। हम प्रदेश में 59 मेडिकल कॉलेज बनवा चुके हैं। यह सबसे बड़ी उपलब्धि है। आज कोई मुझसे पूछता है कि पूर्वी यूपी की सबसे बड़ी उपलब्धि क्या है तो मैं कहता हूं कि हम लोगों ने हजारों बच्चों, जो इंस्पेलाइटिस से पहले मरते थे, उनके जीवन को बचाने का हमने काम किया है। उन्होंने कहा कि जिन परियोजनाओं पर पिछली सरकारों ने 40 वर्ष से ज्यादा का वक्त लगा दिया, हमने उसे रिकॉर्ड समय में पूरा करके दिखाया है।

पीजीआइ लखनऊ को 500 करोड़ की लागत से एक एडवांस्ड पीडियाट्रिक सेंटर भी 
मुख्यमंत्री ने कहा कि आज यहां पर मैं एक नई घोषणा करना चाहता हूं। हमारी सरकार संजय गांधी पीजीआइ लखनऊ को 500 करोड़ की लागत से एक एडवांस्ड पीडियाट्रिक सेंटर भी उपलब्ध कराएगी। सरकार इस कार्यक्रम को एक समयबद्ध तरीके से आगे बढ़ाएगी। यह हमारी सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने का काफी प्रयास किया गया। आज उसी का परिणाम है कि हम लोगों ने न केवल सीएचसी, पीएचसी बल्कि डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल व मेडिकल कॉलेज का निर्माण कराया। एम्स जैसे दो संस्थान प्रदेश में फंक्शनल हो चुके हैं।


उन्होंने कहा कि संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान ने अपने अतीत की गौरवशाली परंपरा को सदैव बनाए रखा है। उन उपलब्धियों के साथ कुछ न कुछ नया जोडऩे का प्रयास किया है। यह अपने वर्तमान के साथ अपनी भावी योजनाओं को वह निरंतर बढ़ाता रहा है। आज इसी का परिणाम है कि संजय गांधी पीजीआइ अपने गौरवशाली अतीत के साथ-साथ भावी उपलब्धियों पर भी गर्व की अनुभूति कर रहा है। प्रदेशवासी संजय गांधी पीजीआइ को मेडिकल क्षेत्र के सेंटर ऑफ एक्सिलेंस के रूप में देखते हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश कोरोना संक्रमण काल में काफी प्रभावित रहा। इसमें भी 25 मार्च 2020 से लेकर अब तक कोई दिन ऐसा नहीं रहा होगा जिस दिन मैंने कोविड प्रबंधन के कार्यों की समीक्षा स्वयं न की हो। संजय गांधी पीजीआइ एक ऐसा संस्थान है जिसने कोरोना प्रबंधन में बेहतरीन कार्य किया है, मैं इसके लिए यहां की टीम का हृदय से अभिनंदन करता हूं।

आज लोगों की पहली प्राथमिकता संजय गांधी पीजीआइ है
आज लोगों की पहली प्राथमिकता संजय गांधी पीजीआइ है। यहां पर आम नागरिक से लेकर वीआइपी तक का इलाज हो रहा है। सदी की सबसे बड़ी महामारी कोरोना संक्रमण काल में भी यहां की टीम के बेहतर कार्य करने बधाई है। संजय गांधी पीजीआइ ने कोरोना प्रबंधन में बेहतरीन काम किया। टीम वर्क के साथ कोरोना से जंग जारी है। हमने पहली तथा दूसरी लहर में कोरोना को नियंत्रित किया है। बेहतर कोरोना प्रबंधन से काबू पाया गया गया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि मुझे प्रसन्नता है कि आज संजय गांधी पीजीआइ में इमरजेंसी मेडिसिन व किडनी ट्रांसप्लांट सेंटर का लोकार्पण हो रहा है। इसके साथ साथ ही एक नर्सेज हॉस्टल, एक रेजिडेंट हॉस्टल सहित अन्य परियोजाओं का लोकार्पण संपन्न हुआ है। यहां पर 601 करोड़ की लागत वाली योजनाओं का लोकार्पण तथा शिलान्यास हुआ है।  

संजय गांधी पीजीआइ में इस कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ चिकित्सा शिक्षा मंत्री सुरेश कुमार खन्ना, राज्य मंत्री संदीप सिंह, मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्रा तथा संजय गांधी पीजीआइ के निदेशक डा. आरके धीमन भी मौजूद थे।

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