भारतीय सेना की ताकत में ईजाफा : परमाणु सक्षमअग्नि-4 बैलिस्टिक मिसाइल की सफलतापूर्वक लॉन्चिंग

Increase in the strength of Indian Army: Successfully launched nuclear capable Agni-4 ballistic missile

डिफेंस मिनिस्ट्री ने कहा कि लॉन्च ने सभी ऑपरेशनल पैरामीटर्स के साथ-साथ सिस्टम की रिलायबिलिटी को भी वैलिड किया गया है। यह टेस्टिंग ऐसे समय में हुई है, जब पूर्वी लद्दाख में चीन के साथ भारत की लंबी सीमा रेखा पर विवाद चल रहा है।

भारत पिछले कुछ वर्षों में  हर तरफ से अपनी सैन्य ताकत में लगातार वृद्धि कर रहा है। इस अवधि के दौरान कई मिसाइलों का सफल परीक्षण किया है। पिछले महीने, भारत ने सुखोई फाइटर जेट से ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल के विस्तारित रेंज संस्करण का सफलतापूर्वक परीक्षण किया। 

Newspoint24/ newsdesk / एजेंसी इनपुट के साथ

नई दिल्ली। भारतीय सेना की ताकत में एक और ईजाफा हुआ है। भारत ने सोमवार को ओडिशा के एपीजे अब्दुल कलाम द्वीप से परमाणु सक्षम  अग्नि-4 बैलिस्टिक मिसाइल की सफलतापूर्वक लॉन्चिंग की गई। इससे देश की मिलिट्री कैपेबिलिटीज में उल्लेखनीय वृद्धि हुई। रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि मिसाइल की ट्रेनिंग लॉन्चिंग 6 जून की शाम करीब 7.30 बजे हुई। इस मिसाइल की मारक क्षमता यानी रेंज लगभग 4,000 किलोमीटर है। इसे बड़े पैमाने पर चीन के खिलाफ भारत की जवाबी ताकत के हिस्से के रूप में देखा जा रहा है। डिफेंस मिनिस्ट्री ने कहा कि अग्नि-4 का सफल परीक्षण भारत की 'विश्वसनीय न्यूनतम प्रतिरोधक क्षमता की नीति का हिस्सा है।

चीन की लद्दाख में दखलअंदाजी के बीच हुआ
डिफेंस मिनिस्ट्री ने कहा कि लॉन्च ने सभी ऑपरेशनल पैरामीटर्स के साथ-साथ सिस्टम की रिलायबिलिटी को भी वैलिड किया गया है। यह टेस्टिंग ऐसे समय में हुई है, जब पूर्वी लद्दाख में चीन के साथ भारत की लंबी सीमा रेखा पर विवाद चल रहा है। भारत पिछले कुछ वर्षों में  हर तरफ से अपनी सैन्य ताकत में लगातार वृद्धि कर रहा है। इस अवधि के दौरान कई मिसाइलों का सफल परीक्षण किया है। पिछले महीने, भारत ने सुखोई फाइटर जेट से ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल के विस्तारित रेंज संस्करण का सफलतापूर्वक परीक्षण किया। यह Su-30MKI विमान से ब्रह्मोस मिसाइल के विस्तारित रेंज संस्करण का पहला प्रक्षेपण था। 27 अप्रैल को भारतीय नौसेना और अंडमान और निकोबार कमान द्वारा संयुक्त रूप से ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल के एक जहाज-रोधी संस्करण का सफलतापूर्वक परीक्षण किया गया था।

भारत लगातार अपनी सैन्य ताकत बढ़ा रहा है
अग्नि- IV मिसाइलों की अग्नि सीरिज में चौथी है। इसे पहले अग्नि II प्राइम (Agni-2 Prime) कहते थे। इसका निर्माण रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) ने किया है। बता दें कि पिछले साल, भारत ने न्यूक्लियर कैपेबिल अग्नि प्राइम मिसाइल का सफलतापूर्वक परीक्षण किया था। यह 1,000 से 2,000 किलोमीटर के बीच अपना टार्गेट तबाह कर सकती है। भारत नई तकनीकों और क्षमताओं के जरिये लगातार अपनी सैन्य ताकत बढ़ा रहा है। हल्के वजन की मिसाइल  Agni-IV ballistic missile को भारत के पूर्वोत्तर भाग से लांच कर चीन के किसी भी हिस्से को टार्गेट किया जा सकता है। 

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