मुझे कुर्सी पर बैठने का मोह नहीं , शिंदे मुझसे बोलते तो मैं इस्तीफा दे देता : उद्धव ठाकरे

I don't feel tempted to sit on chair, would have resigned if Shinde had spoken to me: Uddhav Thackeray

उद्धव बोले- 2014 का चुनाव हमने अपने दम पर और हिंदुत्व के मुद्दे पर लड़ा था। हमने उस वक्त भी कठिन परिस्थियों में चुनाव लड़ा था। इस बात का ध्यान रहे कि 2014 के बाद जो लोग बोल रहे हैं कि शिवसेना बाला साहेब ठाकरे वाली नहीं रही।

वो लोग ध्यान रखें कि नई शिवसेना से ही हमें मंत्री पद मिले। अभी विधानपरिषद का चुनाव हुआ। इसके बाद सभी विधायक एक होटल में थे। मैं वहां गया। वहां पर भी मैंने कहा था कि शिवसैनिक मेहनत करते हैं, जनता भरोसा करती है, लेकिन हमारे लोगों को साथ में रखने के लिए जद्दोजहद करनी पड़ती है।

Newspoint24/newsdesk/एजेंसी इनपुट के साथ 

मुंबई। महाराष्ट्र के सीएम उद्धव ठाकरे ने महाराष्ट्र की जनता से सीधे फेसबुक लाइव के जरिए बात की। यह वो समय था जब एकनाथ शिंदे ने अपना पार्टी व्हिप नियुक्त कर और 34 विधायकों के समर्थन वाली चिट्ठी राज्यपाल को भेज शिवसेना पर ही दावा ठोका है। ठाकरे ने कहा कि शिवसेना और हिंदुत्व एक ही सिक्के के दो पहलू हैं और दोनों को कभी अलग नहीं किया जा सकता है।

उद्धव ठाकरे ने फेसबुक लाइव के जरिए बात

उद्धव बोले- 2014 का चुनाव हमने अपने दम पर और हिंदुत्व के मुद्दे पर लड़ा था। हमने उस वक्त भी कठिन परिस्थियों में चुनाव लड़ा था। इस बात का ध्यान रहे कि 2014 के बाद जो लोग बोल रहे हैं कि शिवसेना बाला साहेब ठाकरे वाली नहीं रही। वो लोग ध्यान रखें कि नई शिवसेना से ही हमें मंत्री पद मिले। अभी विधानपरिषद का चुनाव हुआ। इसके बाद सभी विधायक एक होटल में थे। मैं वहां गया। वहां पर भी मैंने कहा था कि शिवसैनिक मेहनत करते हैं, जनता भरोसा करती है, लेकिन हमारे लोगों को साथ में रखने के लिए जद्दोजहद करनी पड़ती है।

शरद पवार ने मुझे कहा था कि मैं बात करना चाहता हूं। उन्होंने कहा कि आप मुख्यमंत्री का जिम्मा संभालें। कांग्रेस-राकांपा और शिवसेना को एकसाथ काम करना होगा तो आप ही नेतृत्व संभालें। सोनिया भी फोन करती हैं। इसके पीछे मेरा कोई स्वार्थ नहीं है। इन सभी ने मुझे मदद की है।

मुझे कुर्सी पर बैठने का मोह नहीं 
मुझे कुर्सी पर बैठने का मोह नहीं है। मैं जबरदस्ती इस कुर्सी पर नहीं बैठना चाहता। मगर जो कुछ भी कहना है, वो सामने आकर कहें। एक तरफ ये कहना कि मैं शिवसैनिक हूं और फिर ऐसा काम करना है। कहावत है कि कुल्हाड़ी में लकड़ी का हत्था लगा होता है और वही पेड़ काटता है। पार्टी से गद्दारी ठीक नहीं है।

मैं सीएम की कुर्सी पर न रहूं तो बोलें
शिंदे मुझसे बोलते तो मैं इस्तीफा दे देता। अगर आप चाहते हैं कि मैं सीएम की कुर्सी पर न रहूं तो बोलें। विधायक अगर मुझसे बोलते हैं तो मैं कुर्सी छोड़ दूंगा। जब तक शिवसैनिक मेरे साथ हैं मैं हर चुनौती का सामना करूंगा। जो कहते हैं कि मैं शिवसेना का नेतृत्व करने के लायक नहीं हूं तो मैं उन्हें तवज्जो नहीं देता। मैं संकटों से जूझने वाला शिवसैनिक हूं। शिवसैनिक बोलें कि मैं पद छोड़ूं तो मैं छोड़ दूंगा। उद्धव ठाकरे नहीं चाहिए तो भी सही है, पर मेरे सामने आकर ये बात करो।

आप फेसबुक लाइव देख रहे हैं तो मुझे बताएं कि आप मुझे सीएम पद पर देखना नहीं चाहते। आप सामने आकर बात करें और मुझसे ये बात करें तो मैं पद छोड़ने को तैयार हूं।

शिवसेना भवन में सन्नाटा
गुवाहाटी में मौजूद शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे ने दावा किया है कि उनके साथ 46 विधायक हैं। वहीं उद्धव ठाकरे की तरफ से शिवसेना नेता संजय राउत ने भी शाम तक बड़ा उलटफेर होने की संभावना जताई है। एक तरह से उन्होंने सत्ता जाने के संकेत दे दिए हैं।

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